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| {| class="wikitable" | | {| class="wikitable" |
| | colspan="4" rowspan="1" style="text-align:center" |'''कक्षा 11 रसायन विज्ञान (1) के लिए टैक्सोनॉमी'''
| | |'''S.No''' |
| |-
| | |'''English''' |
| |'''अध्याय''' | | |'''Hindi''' |
| |'''विषय''' | |
| |'''उपविषय-1''' | |
| |'''उपविषय-2'''
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| |[[रसायन विज्ञान की कुछ मूल अवधरणाएँ]]
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| |[[रसायन विज्ञान का विकास]]
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| |रसायन विज्ञान का महत्त्व
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| |द्रव्य की प्रकृति
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| |द्रव्य का वर्गीकरण
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| |[[द्रव्य के गुणधर्म और उनका मापन]]
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| |भौतिक एवं रासायनिक गुण
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| |भौतिक गुणधर्मों का मापन
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| |मात्रकों की अंतर्राष्ट्रीय पद्धति
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| |द्रव्यमान और भार
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| |आयतन
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| |ताप
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| |मापन में अनिश्चितता
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| |वैज्ञानिक अनिश्चितता
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| |सार्थक अंक
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| |विमीय विश्लेषण
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| |रासायनिक संयोजन के नियम
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| |द्रव्यमान संरक्षण का नियम
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| |स्थिर अनुपात का नियम
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| |गुणित अनुपात का नियम
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| |आवोगाद्रो का नियम
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| |डाल्टन के परमाणु सिद्धांत का नियम
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| |औसत परमाणु द्रव्यमान
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| |आणविक द्रव्यमान
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| |सूत्र-द्रव्यमान
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| |मोल संकल्पना और मोलर द्रव्यमान
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| |प्रतिशत संघटन
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| |मूलानुपाती सूत्र और आणविक सूत्र
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| |स्टॉइकियोमीट्री और स्टॉइकियोमीट्रिक परिकल्पना
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| |सीमान्त अभिकर्मक
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| |विलयनों में अभिक्रियाएं
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| |द्रव्यमान प्रतिशत
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| |मोल अंश
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| |मोलरता
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| |मोललता
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| |परमाणु की संरचना
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| |अवपरमाण्विक कणों की खोज
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| |इलेक्ट्रॉन की खोज
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| |इलेक्ट्रॉन का द्रव्यमान आवेश अनुपात
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| |इलेक्ट्रॉनों पर आवेश
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| |प्रोटॉन तथा न्यूट्रॉन की खोज
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| |परमाणु मॉडल
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| |परमाणु का थॉमसन मॉडल
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| |रदरफोर्ड का नाभिकीय परमाणु मॉडल
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| |परमाणु संख्या तथा द्रव्यमान संख्या
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| |समस्थानिक एवं समभारिक
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| |रदरफोर्ड परमाणु मॉडल के दोष
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| |बोर के परमाणु मॉडल के विकास की पृष्ठभूमि
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| |विद्युत चुंबकीय विकिरण की तरंग प्रकृति
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| |विद्युत चुंबकीय विकिरण की कणीय प्रकृति: प्लांक का क्वांटम सिद्धांत
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| |प्रकाश विधुत प्रभाव
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| |विद्युत चुंबकीय विकिरण का द्वैत प्रभाव
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| |क्वांटित इलेक्ट्रॉनिक ऊर्जा के लिए प्रमाण:परमाण्विक स्पेक्ट्रा
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| |उत्सर्जन तथा अवशोषण स्पेक्ट्रा
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| |हाइड्रोजन का रेखीय स्पेक्ट्रम
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| |हाइड्रोजन परमाणु के लिए बोर मॉडल
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| |हाइड्रोजन के रेखा स्पेक्ट्रम की व्याख्या
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| |बोर मॉडल की सीमाएं
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| |हाइजेनबर्ग का अनिश्चितता सिद्धांत
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| |अनिश्चितता सिद्धांत का महत्व
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| |बोर मॉडल की विफलता के कारण
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| |परमाणु का क्वांटम यांत्रिकीय मॉडल
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| |हाइड्रोजन परमाणु था श्रोडिंजर समीकरण
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| |कक्षक और क्वांटम संख्या
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| |मुख्य क्वांटम संख्या
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| |दिगंशी क्वांटम संख्या
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| |-
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| |चुंबकीय क्वांटम संख्या
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| |-
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| |चक्रण क्वांटम संख्या
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| |परमाणु कक्षकों की आकृतियां
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| |कक्षकों की ऊर्जाएँ
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| |परमाणु में कक्षकों का भरा जाना
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| |ऑफबाऊ नियम
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| |पाउली अपवर्जन सिद्धांत
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| |हुण्ड का अधिकतम बहुलता का नियम
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| |परमाणुओं का इलेक्ट्रॉनिक विन्यास
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| |पूर्णरूपेण पूरित एवं अर्धपूरित उप-कोशों का स्थायित्व
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| |तत्वों का वर्गीकरण एवं गुणधर्मों में आवर्तिता
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| |तत्वों का वर्गीकरण क्यों आवश्यक है
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| |आवर्त सारणी की उत्पत्ति
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| |आधुनिक आवर्त नियम तथा आवर्त सारणी का वर्तमान स्वरूप
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| |१०० से अधिक परमाणु क्रमांक वाले तत्वों का नामकरण
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| |तत्वों के इलेक्ट्रॉनिक विन्यास तथा आवर्त सारणी
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| |आवर्त में इलेक्ट्रॉनिक विन्यास
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| |वर्गवार इलेक्ट्रॉनिक विन्यास
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| |इलेक्ट्रॉनिक विन्यास और तत्वों के प्रकार
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| |s ब्लॉक के तत्व
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| |p ब्लॉक के तत्व
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| |d ब्लॉक के तत्व (संक्रमण तत्त्व)
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| |f ब्लॉक के तत्व
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| |धातु, अधातु और उपधातु
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| |तत्वों के गुणधर्मों में आवर्तिता
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| |भौतिक गुणधर्मों की प्रवृत्ति
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| |परमाणु त्रिज्या
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| |आयनी त्रिज्या
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| |आयनन एंथैल्पी
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| |इलेक्ट्रॉन लब्धि एन्थैल्पी
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| |वैद्युतीयऋणात्मकता
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| |-
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| |रासायनिक गुणधर्मों में आवर्त प्रवृत्ति
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| |-
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| |संयोजकता में आवर्तिता या ऑक्सीकरण अवस्था
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| |रासायनिक अभिक्रियाशीलता तथा आवर्तिता
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| |रासायनिक आबंधन तथा आण्विक संरचना
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| |रासायनिक आबंधन की कॉसेल लूइस अवधारणा
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| |अष्टक नियम
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| |आबंध
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| |सहसंयोजी आबंध
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| |लुईस संरचना
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| |फॉर्मल आवेश
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| |अष्टक नियम की सीमाएं
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| |-
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| |विद्युत संयोजी बंध
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| |-
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| |जालक एन्थैल्पी
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| |-
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| |आबंध प्राचल
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| |-
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| |आबंध लम्बाई
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| |-
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| |आबंध कोण
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| |-
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| |आबंध एन्थैल्पी
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| |-
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| |आबंध कोटि
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| |-
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| |अनुनाद संरचनाएँ
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| |-
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| |आबंध -ध्रुवणता
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| |-
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| |द्विध्रुव आघूर्ण
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| |-
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| |संयोजकता कोश इलेक्ट्रॉन युग्म प्रतिकर्षण सिद्धांत
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| |-
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| |एकाकी युग्मरहित केंद्रित परमाणु युक्त अणुओं की ज्यामितीय
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| |-
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| |केंद्रित परमाणु युक्त अणुओं की ज्यामितीय जिसमे एकाकी युग्म उपस्थित है
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| |संयोजकता बंध सिद्धांत
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| |-
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| |कक्षक अतिव्यापन अवधारणा
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| |परमाणु कक्षकों का अतिव्यापन
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| |-
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| |अतिव्यापन के प्रकार तथा सहसंयोजी आबंध की प्रकृति
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| |-
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| |सिग्मा बंध तथा पाई बंध
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| |-
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| |सिग्मा आबंधों तथा पाई आबंधों की प्रबलता
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| |-
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| |संकरण
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| |-
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| |संकरण के प्रकार
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| |sp3, sp2, sp संकरण के उदाहरण
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| |d कक्षकों वाले तत्वों में संकरण
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| |आणविक कक्षक सिद्धांत
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| |-
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| |आणविक कक्षकों के प्रकार
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| |-
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| |आणविक कक्षकों का ऊर्जा स्तर आरेख
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |1 |
| |समनाभिकीय द्विपरमाणुक अणुओं में आबंधन | | |Acid |
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| | |[[अम्ल]] |
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| |-
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| |
| |हाइड्रोजन आबंधन
| |
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| |
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| |-
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| |
| |
| |हाइड्रोजन आबंधों के प्रकार
| |
| |
| |
| |-
| |
| |द्रव्य की अवस्थाएँ
| |
| |
| |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |2 |
| |अंतरा-आणविक बल | | |Addition Reaction |
| | | | |[[संकलन अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |3 |
| | | | |Alloy |
| |प्रकीर्णन बल अथवा लंडन बल | | |[[मिश्र धातु]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |4 |
| | | | |Amalgam |
| |द्विध्रुव-द्विध्रुव बल | | |[[अमलगम]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |5 |
| | | | |Amphoteric Oxides |
| |द्विध्रुव प्रेरित द्विध्रुव बल | | |[[उभयधर्मी आक्साइड]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |6 |
| |ऊष्मीय ऊर्जा | | |Anode Punk |
| | | | |[[एनोड पंक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |7 |
| |गैसीय अवस्था | | |Atom |
| | | | |[[परमाणु और अणु|परमाणु]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |8 |
| |गैस के नियम | | |Atomic Number |
| | | | |[[परमाणु संख्या तथा द्रव्यमान संख्या|परमाणु संख्या]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |9 |
| | | | |Atomic Radius |
| |बॉयल का नियम | | |[[परमाणु त्रिज्या]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |10 |
| | | | |Baking Soda |
| |चार्ल्स का नियम | | |[[बेकिंग सोडा]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |11 |
| | | | |Balanced Chemical Equations |
| |गै -लुसैक नियम | | |[[संतुलित रासायनिक समीकरण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |12 |
| | | | |Base |
| |आवोगाद्रो नियम | | |[[क्षार]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |13 |
| |आदर्श गैस समीकरण | | |Bleaching Powder |
| | | | |[[विरंजक चूर्ण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |14 |
| | | | |Benzene |
| |गैसीय पदार्थ का घनत्व एवं मोलर द्रव्यमान | | |[[बेन्जीन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |15 |
| |डाल्टन का आंशिक दाब नियम | | |Bohr Atomic Model |
| | | | |[[बोहर परमाणु मॉडल]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |16 |
| |गतिज ऊर्जा एवं अणुक गति | | |Boiling point |
| | | | |[[क्वथनांक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |17 |
| |गैसों का अणुगतिक सिद्धांत | | |Calcination |
| | | | |[[निस्तापन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |18 |
| |आदर्श व्यवहार से विचलन | | |Canal Rays |
| | | | |[[केनाल किरणें]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |19 |
| |गैसों का द्रवीकरण | | |Charge |
| | | | |[[आवेश]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |20 |
| | | | |Chemical Equations |
| |क्रांतिक ताप | | |[[रासायनिक समीकरण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |21 |
| | | | |Chemical Formula |
| |क्रांतिक दाब | | |[[रासायनिक सूत्र]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |22 |
| | | | |Chemical Transformation |
| |क्रांतिक आयतन | | |[[रासायनिक परिवर्तन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |23 |
| |द्रव अवस्था | | |Chlor-alkali process |
| | | | |[[क्लोर-क्षार प्रक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |24 |
| | | | |Colloid |
| |वाष्प दाब | | |[[कोलॉइड]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |25 |
| | | | |Combination Reaction |
| |पृष्ठ तनाव | | |[[संयोजन अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |26 |
| | | | |Combustion |
| |श्यानता | | |[[दहन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| |उष्मागतिकी | | |27 |
| |
| | |Common Salt |
| |
| | |[[साधारण नमक]] |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |ऊष्मागतिकी के तकनीकी शब्द
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| |
| |
| |
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| |-
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| |
| |
| |
| |निकाय एवं परिवेश
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| |-
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| |निकाय के प्रकार
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| |-
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| |
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| |
| |निकाय की अवस्था
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| |-
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| |आंतरिक ऊर्जा : एक अवस्था फलन
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| |-
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| |कार्य
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| |ऊष्मा
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| |-
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| |सामान्य स्थिति
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| |-
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| |एन्थैल्पी
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| |-
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| |
| |एक उपयोगी नया अवस्था फलन
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| |-
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| |
| |विस्तीर्ण एवं गहन गुण
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| |-
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| |
| |ऊष्मा धारिता
| |
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| |-
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| |एक आदर्श गैस के लिए Cp एवं Cv में सम्बन्ध
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |Δ U एवं ΔH का मापन: कैलोरीमिति
| |
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| |-
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| |
| |Δ U का मापन
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| |-
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| |
| |
| |ΔH का मापन
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |अभिक्रिया के लिए एन्थैल्पी परिवर्तन, ΔrH अभिक्रिया एन्थैल्पी
| |
| |
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| |
| |
| |-
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| |
| |
| |
| |
| |अभिक्रिया की मानक एन्थैल्पी
| |
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| |-
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| |
| |
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| |
| |प्रावस्था रूपांतरण में एन्थैल्पी-परिवर्तन
| |
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| |-
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| |
| |मानक विरचन एन्थैल्पी ∆Hf
| |
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| |-
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| |
| |
| |ऊष्मा रासायनिक समीकरण
| |
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| |-
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| |
| |
| |
| |हेस का नियम
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |विभिन्न प्रकार की अभिक्रियाओं के लिए एन्थैल्पी
| |
| |
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |मानक दहन एन्थैल्पी ∆Hc
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| |-
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| |
| |कणन एन्थैल्पी
| |
| |
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| |-
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| |
| |आबंध एन्थैल्पी
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |
| |बहुपरमाणुक अणु
| |
| |-
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| |
| |जालक एन्थैल्पी
| |
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| |
| |-
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| |
| |
| |
| |विलयन एन्थैल्पी
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |
| |
| |तनुकरण की एन्थैल्पी
| |
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| |-
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| |
| |स्वतः प्रवर्तिता
| |
| |
| |
| |
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| |-
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| |
| |एन्ट्रापी एवं स्वतः प्रवर्तिता
| |
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| |-
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| |
| |गिब्स ऊर्जा एवं स्वतः प्रवर्तिता
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |
| |
| |एन्ट्रापी और ऊष्मागतिकी का दूसरा नियम
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
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| |
| |
| |निरपेक्ष एन्ट्रापी और ऊष्मागतिकी का तीसरा नियम
| |
| |
| |
| |-
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| |
| |
| |
| |
| |गिब्स ऊर्जा परिवर्तन एवं साम्यावस्था
| |
| |
| |
| |-
| |
| |साम्यावस्था
| |
| |
| |
| |
| |
| |
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| |-
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| |
| |भौतिक प्रक्रमों में साम्यावस्था
| |
| |
| |
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| |-
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| |
| |
| |
| |ठोस-द्रव साम्यावस्था
| |
| |
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| |-
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| |
| |
| |
| |
| |द्रव-वाष्प साम्यावस्था
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |
| |
| |ठोस-वाष्प साम्यावस्था
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |द्रव में ठोस अथवा गैस की घुलनशीलता सम्बन्धी साम्य
| |
| |
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| |-
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| |
| |
| |
| |द्रवों में ठोस
| |
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| |-
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| |
| |
| |
| |
| |द्रवों में गैसें
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |भौतिक साम्यावस्था
| |
| |
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |
| |
| |भौतिक साम्यावस्था की विशेषताएं
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |
| |
| |भौतिक साम्यावस्था के सामान्य अभिलक्षण
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |रासायनिक साम्यावस्था का नियम तथा साम्यावस्था स्थिरांक
| |
| |
| |
| |
| |
| |-
| |
| |
| |
| |
| |
| |समांग साम्यावस्था
| |
| |
| |
| |-
| |
| | | |
| | | |
| | | | | |
| |गैसीय निकाय में साम्यावस्था स्थिरांक (Kp)
| |
| |- | | |- |
| | | | |29 |
| | | | |Compound |
| |विषमांग साम्यावस्था | | |[[यौगिक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |30 |
| |साम्यावस्था स्थिरांक के अनुप्रयोग | | |Corrosion |
| | | | |[[संक्षारण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |31 |
| | | | |Covalent Compound |
| |अभिक्रिया की सीमा का अनुमान लगाना | | |[[सहसंयोजक यौगिक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |32 |
| | | | |Decomposition Reaction |
| |अभिक्रिया की दिशा का बोध | | |[[अपघटन या वियोजन अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |33 |
| | | | |Deposition process |
| |साम्य सांद्रताओं की गणना | | |[[निक्षेपण प्रक्रम]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |34 |
| |साम्यावस्था स्थिरांक K, अभिक्रिया भागफल Q तथा गिब्स ऊर्जा G में सम्बन्ध | | |Dispersed Phase |
| | | | |[[परिक्षिप्त प्रावस्था]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |35 |
| |साम्य को प्रभावित करने वाले कारक | | |Dispersion Medium |
| | | | |[[परिक्षेपण माध्यम]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |36 |
| | | | |Displacement Reaction |
| |सांद्रता परिवर्तन का प्रभाव | | |[[विस्थापन अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |37 |
| | | | |Distillation |
| |दाब परिवर्तन का प्रभाव | | |[[आसवन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |38 |
| | | | |Detergent |
| |अक्रिय गैस के योग का प्रभाव | | |[[अपमार्जक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |39 |
| | | | |Döbereiner’s Triads |
| |ताप परिवर्तन का प्रभाव | | |[[डोबेराइनर के त्रिक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |40 |
| | | | |Double Displacement Reaction |
| |उत्परिवर्तन का प्रभाव | | |[[द्विविस्थापन अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |41 |
| |विलयन में आयनिक साम्यावस्था | | |Electrolytic Refining |
| | | | |[[विद्युत अपघटनी परिष्करण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |42 |
| |अम्ल क्षारक एवं लवण | | |Electron |
| | | | |[[इलेक्ट्रॉन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |43 |
| | | | |Electrovalent Compounds |
| |अम्ल क्षार की आरहेनियस धारणा | | |[[वैधुत संयोजक यौगिक]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |44 |
| | | | |Element |
| |ब्रॉन्स्टेड लोरी अम्ल एवं क्षार | | |[[तत्व]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |45 |
| | | | |Endothermic Reaction |
| |लूइस अम्ल एवं क्षारक | | |[[ऊष्माशोषी अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |46 |
| |अम्ल एवं क्षारकों का आयनन | | |Energy Level |
| | | | |[[ऊर्जा स्तर]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |48 |
| |जल का आयनन स्थिरांक एवं इसका आयनिक गुणनफल | | |Enrichment of Ores |
| | | | |[[अयस्कों का समृद्धिकरण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |49 |
| |pH स्केल | | |Ethanoic Acid |
| | | | |[[एथेनोइक अम्ल]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |50 |
| | | | |Ethenol |
| |दुर्बल अम्लों के आयनन स्थिरांक | | |[[एथनॉल]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |51 |
| | | | |Evaporation |
| |दुर्बल क्षारकों का आयनन | | |[[वाष्पीकरण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |52 |
| | | | |Exothermic Reaction |
| |Ka तथा Kb में सम्बन्ध | | |[[ऊष्माक्षेपी अभिक्रिया]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |53 |
| | | | |Fractional Distillation |
| |द्वि एवं बहु क्षारकी अम्ल तथा द्वि एवं बहु अम्लीय क्षारक | | |[[प्रभाजी आसवन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |54 |
| |अम्लों एवं क्षारकों के आयनन में समआयन प्रभाव | | |Functional Group |
| | | | |[[प्रकार्यात्मक समूह]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |55 |
| |लवणों का जल अपघटन एवं इनके विलयन का pH | | |Galvanization |
| | | | |[[यशदलेपन]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |56 |
| |बफर विलयन | | |Gypsum |
| | | | |[[जिप्सम]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |57 |
| | | | |Heterogeneous mixture |
| |अम्लीय बफर | | |[[विषमांगी मिश्रण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |58 |
| | | | |Homogeneous Mixture |
| |क्षारीय बफर | | |[[समांगी मिश्रण]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |59 |
| |अल्पविलेय लवणों की विलेयता साम्यावस्था | | |Homologus Series |
| | | | |[[समजातीय श्रृंखला]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |60 |
| | | | |Hydrophilic |
| |विलेयता गुणनफल स्थिरांक | | |[[जलरागी]] |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | |61 |
| | |Hydrophobic |
| | |[[जलविरागी]] |
| | | | | |
| |आयनिक लवणों की विलेयता पर सम आयन प्रभाव
| |
| |
| |
| |
| |
| |}
| |
| {| class="wikitable"
| |
| | colspan="5" rowspan="1" style="text-align:center" |'''कक्षा 11 रसायन विज्ञान (2) के लिए टैक्सोनॉमी'''
| |
| |-
| |
| |'''अध्याय-सूची'''
| |
| |'''विषय-सूची'''
| |
| |'''उपविषय-1'''
| |
| |'''उपविषय-2'''
| |
| |'''उपविषय-3'''
| |
| |- | | |- |
| |अपचयोपचय अभिक्रियाएँ | | |62 |
| |
| | |Indicator |
| | | | |[[सूचक]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |63 |
| |अपचयोपचय अभिक्रियाएँ | | |Ion |
| |
| | |[[आयन]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |64 |
| |इलेक्ट्रॉन स्थानांतरण अभिक्रियाओं के रूप में अपचयोपचय अभिक्रियाएँ | | |Ionic Compound |
| |
| | |[[आयनिक यौगिक]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |65 |
| | | | |Isobars |
| |प्रतियोगी इलेक्ट्रॉन स्थानांतरण अभिक्रियाएँ | | |[[समभारिक]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |66 |
| | | | |Isotopes |
| |अपचयोपचय अभिक्रियाओं के प्रारूप | | |[[समस्थानिक]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |67 |
| | | | |latent heat |
| | | | |[[गुप्त ऊष्मा]] |
| |योग अभिक्रियाएँ
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |68 |
| | | | |litmus paper |
| | | | |[[लिट्मस पेपर]] |
| |अपघटन अभिक्रियाएँ
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |69 |
| | | | |Mass Number |
| | | | |[[द्रव्यमान संख्या]] |
| |विस्थापन अभिक्रियाएँ
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |70 |
| | | | |Matter |
| | | | |[[द्रव्य]] |
| |असमानुपातन अभिक्रियाएँ
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |71 |
| | | | |Melting point |
| |अपचयोपचय अभिक्रियाओं का संतुलन | | |[[गलनांक]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |72 |
| | | | |Metals |
| | | | |[[धातु, अधातु और उपधातु|धातु]] |
| |ऑक्सीकरण-संख्या विधि | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |73 |
| | | | |Metalloid |
| | | | |[[धातु, अधातु और उपधातु|उपधातु]] |
| |अर्द्ध अभिक्रिया विधि | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |74 |
| |ऑक्सीकरण-संख्या | | |Molecular compound |
| |
| | |[[आणविक यौगिक]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |75 |
| |अपचयन अभिक्रियाएँ तथा इलेक्ट्रोड प्रक्रम | | |Molecule |
| |
| | |[[अणु]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| |हाइड्रोजन | | |76 |
| |
| | |Mendeleev’s Periodic Table |
| | | | |[[मेंडलीफ की आवर्त सारणी]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |77 |
| |आवर्त सारणी में हाइड्रोजन का स्थान | | |Metal Extraction |
| |
| | |[[धातुओं का निष्कर्षण]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |78 |
| |डाइहाइड्रोजन | | |Metallic and Nonmetallic characteristics |
| |
| | |[[धात्विक और अधात्विक गुण]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |79 |
| |डाइहाइड्रोजन बनाने की विधियां | | |Methods of Separation of Solutions |
| |
| | |[[विलयन की पृथक्करण विधियां]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |80 |
| |डाइहाइड्रोजन के गुण | | |Methyl Orange |
| |
| | |[[मिथाइल ऑरेंज]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |81 |
| | | | |Micelles |
| |डाइहाइड्रोजन के अनुप्रयोग | | |[[मिसेल्स]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |82 |
| |हाइड्राइड | | |Mineral |
| |
| | |[[खनिज]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |83 |
| | | | |Mixture |
| |आयनिक या लवणीय हाइड्राइड | | |[[मिश्रण]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |84 |
| | | | |Modern periodic table |
| |सहसंयोजक या आण्विक हाइड्राइड | | |[[आधुनिक आवर्त सारणी]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |85 |
| | | | |Neutralization Reaction |
| |धात्विक या अरसमीकरणमितीय हाइड्राइड | | |[[उदासीनीकरण अभिक्रिया]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |86 |
| |जल | | |Neutron |
| |
| | |[[न्यूट्रॉन]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |87 |
| | | | |Newlands’ Law of Octaves |
| |जल के भौतिक गुण | | |[[न्यूलैंड्स का अष्टक नियम]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |88 |
| | | | |Non-metals |
| | | | |[[धातु, अधातु और उपधातु|अधातु]] |
| |जल की संरचना | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |90 |
| | | | |Non-Corrosive Base |
| | | | |[[असंक्षारक क्षार]] |
| |बर्फ की संरचना
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |91 |
| | | | |Nucleus |
| |जल के रासायनिक गुण | | |[[नाभिक]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |92 |
| | | | |Orbit |
| | | | |[[कक्षा]] |
| |उभयधर्मी प्रकृति
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |93 |
| | | | |Ore |
| | | | |[[अयस्क]] |
| |जल की अपचयोपचय अभिक्रिया
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |94 |
| | | | |Organic Compounds |
| | | | |[[कार्बनिक यौगिक]] |
| |जल अपघटन अभिक्रिया
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |95 |
| | | | |Oxidation and Reduction |
| | | | |[[ऑक्सीकरण और अपचयन]] |
| |हाइड्रेट विरचन
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |96 |
| | | | |Period |
| |कठोर एवं मृदु जल | | |[[आवर्त]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |97 |
| | | | |Periodic Law |
| | | | |[[आवर्त नियम]] |
| |अस्थायी कठोरता
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |98 |
| | | | |pH Scale |
| | | | |[[pH पैमाना]] |
| |स्थायी कठोरता
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |99 |
| |हाइड्रोजन पेरॉक्साइड | | |Phase |
| |
| | |[[प्रावस्था]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |100 |
| | | | |Phenolphthalein |
| |हाइड्रोजन पेरोक्साइड बनाने की विधियाँ | | |[[फेनॉल्फथेलिन]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |101 |
| | | | |Plasma |
| |भौतिक गुण | | |[[प्लाज्मा]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |102 |
| | | | |Plaster of Paris |
| | | | |[[प्लास्टर ऑफ पेरिस]] |
| |संरचना
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| |- | | |- |
| | | | |103 |
| | | | |Precipitate |
| |रासायनिक गुण | | |[[अवक्षेप]] |
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| |- | | |- |
| | | | |104 |
| |भारी जल | | |Precipitation Reactions |
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| | |[[अवक्षेपण अभिक्रियाएँ]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |105 |
| |डाई हाइड्रोजन ईंधन के रूप में | | |Product |
| |
| | |[[उत्पाद]] |
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| |- | | |- |
| |s-ब्लॉक तत्व | | |106 |
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| | |Proton |
| | | | |[[प्रोटॉन]] |
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| |- | | |- |
| | | | |107 |
| |क्षार -धातुएँ | | |Purification |
| |
| | |[[परिशोधन]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |108 |
| | | | |Rancidity |
| |इलेक्ट्रॉनिक विन्यास | | |[[विकृतगंधिता]] |
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| |- | | |- |
| | | | |109 |
| | | | |Reactant |
| |परमाणु तथा आयनी त्रिज्या | | |[[अभिकारक]] |
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| |- | | |- |
| | | | |110 |
| | | | |Reactivity Series |
| |आयनीकरण एन्थैल्पी | | |[[सक्रियता श्रेणी]] |
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| |- | | |- |
| | | | |111 |
| | | | |Reagent |
| |जलयोजन एन्थैल्पी | | |[[अभिकर्मक]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |112 |
| |क्षार -धातुओं के भौतिक गुण | | |Redox Reaction |
| |
| | |[[रेडॉक्स अभिक्रिया]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |113 |
| |क्षार -धातुओं के रासायनिक गुण | | |Roasting |
| |
| | |[[भर्जन]] |
| | | |
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| |- | | |- |
| | | | |114 |
| |क्षार -धातुओं के यौगिकों के सामान्य अभिलक्षण | | |Rutherford Atomic Model |
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| | |[[रदरफोर्ड का नाभिकीय परमाणु मॉडल]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |115 |
| | | | |Saponification |
| |ऑक्साइड और हाइड्रॉक्साइड | | |[[साबुनीकरण]] |
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| |- | | |- |
| | | | |116 |
| | | | |Saturated and Unsaturated Compounds |
| |हैलाइड्स | | |[[संतृप्त और असंतृप्त यौगिक]] |
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| |- | | |- |
| | | | |117 |
| | | | |Sodium hydroxide |
| |ऑक्सो-अम्लों के लवण | | |[[सोडियम हाइड्रॉक्साइड]] |
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| |- | | |- |
| | | | |118 |
| |लिथियम का असंगत व्यवहार | | |Solution |
| |
| | |[[विलयन]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |119 |
| | | | |States of Matter |
| |लिथियम एवं मैग्नीशियम में समानताओं के बिंदु | | |[[पदार्थ की अवस्थाएं]] |
| |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |120 |
| |सोडियम के कुछ महत्वपूर्ण यौगिक | | |Sublimation |
| |
| | |[[ऊर्ध्वपातन]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |121 |
| | | | |Substance |
| |सोडियम कार्बोनेट(धावन सोडा) | | |[[पदार्थ]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |122 |
| | | | |Substitution Reaction |
| |सोडियम क्लोराइड | | |[[प्रतिस्थापन अभिक्रिया]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |123 |
| | | | |Suspension |
| |सोडियम हाइड्रॉक्साइड | | |[[निलंबन]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |124 |
| | | | |Thermal energy |
| |सोडियम हाइड्रोजन कार्बोनेट(बेकिंग सोडा) | | |[[ऊष्मीय ऊर्जा]] |
| |
| |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |125 |
| |सोडियम एवं पोटैशियम की जैव उपयोगिता | | |Thermite Reaction |
| |
| | |[[थर्माइट अभिक्रिया]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |126 |
| |क्षारीय मृदा धातुएँ | | |Thomson Atomic Model |
| |
| | |[[परमाणु का थॉमसन मॉडल]] |
| | | |
| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |127 |
| | | | |Traumatization |
| |इलेक्ट्रॉनिक विन्यास | | |[[आघातवधर्यता]] |
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| | | | | |
| |- | | |- |
| | | | |128 |
| | | | |Tyndall Effect |
| |परमाणु एवं आयनी त्रिज्या | | |[[टिंडल प्रभाव]] |
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| |- | | |- |
| | | | |129 |
| | | | |Valency |
| |आयनीकरण एन्थैल्पी | | |[[संयोजकता]] |
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| |- | | |- |
| | | | |130 |
| | | | |Washing Soda |
| |जलयोजन एन्थैल्पी | | |[[सोडियम कार्बोनेट(धावन सोडा)]] |
| |
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| |-
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| |क्षारीय मृदा धातुओं के रासायनिक गुण
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| |रासायनिक गुण
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| |वायु एवं जल के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |हैलोजन के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |हाइड्रोजन के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |अम्लों के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |अपचायक प्रकृति
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| |-
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| |द्रव अमोनिया में विलयन
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| |क्षारीय मृदा धातुओं के यौगिक के लक्षण
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| |ऑक्साइड एवम हाइड्रोक्साइड
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| |हैलाइड्स
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| |ऑक्सो-अम्लों के लवण
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| |कार्बोनेट
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| |सल्फेट
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| |नाइट्रेट
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| |बेरिलियम का असंगत व्यवहार
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| |-
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| |बेरिलियम एवं एलुमिनियम में विकर्ण सम्बन्ध
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| |-
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| |कैल्शियम के कुछ महत्वपूर्ण यौगिक
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| |-
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| |कैल्शियम ऑक्साइड या बिना बुझा चूना, CaO
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| |-
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| |कैल्शियम हाइड्रॉक्साइड या बुझा चूना, Ca(OH)2
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| |-
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| |कैल्शियम कार्बोनेट
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| |-
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| |कैल्शियम सल्फेट (प्लास्टर ऑफ़ पेरिस)
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| |सीमेंट
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| |मैग्नीशियम और कैल्शियम की जैव महत्ता
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| |p ब्लॉक तत्व
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| |समूह १३ के तत्व:बोरॉन परिवार
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| |इलेक्ट्रॉनिक विन्यास
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| |परमाणु त्रिज्या
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| |आयनीकरण एन्थैल्पी
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| |वैद्युतीयऋणात्मकता
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| |रासायनिक गुण
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| |ऑक्सीकरण अवस्था एवं रासायनिक अभिक्रियाशीलता की प्रवृत्ति
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| |वायु के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |अम्ल एवं क्षार के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |हैलोजनों के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |बोरोन की प्रवृत्ति तथा असंगत व्यवहार
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| |-
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| |बोरोन के कुछ महत्वपूर्ण यौगिक
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| |बोरेक्स
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| |आर्थोबोरिक अम्ल
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| |डाइबोरेन
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| |-
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| |बोरॉन, एल्युमीनियम तथा इनके योगिकों के उपयोग
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| |-
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| |समूह-14 के तत्व : कार्बन परिवार
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| |भौतिक गुण
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| |इलेक्ट्रॉनिक विन्यास
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| |-
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| |सहसंयोजक त्रिज्या
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| |-
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| |आयनन एन्थैल्पी
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| |-
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| |वैद्युतीयऋणात्मकता
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| |-
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| |रासायनिक गुण
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| |-
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| |ऑक्सीकरण अवस्था तथा रासायनिक अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |ऑक्सीजन के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |हैलोजन के प्रति अभिक्रियाशीलता
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| |-
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| |कार्बन की महत्वपूर्ण प्रवृत्तियां एवं असामान्य व्यवहार
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| |-
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| |कार्बन के अपरूप
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| |हीरा
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| |ग्रेफाइट
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| |फुलरीन
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| |कार्बन के उपयोग
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| |-
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| |कार्बन तथा सिलिकॉन के प्रमुख यौगिक
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| |-
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| |कार्बन के ऑक्साइड
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| |कार्बन मोनोऑक्साइड
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| |-
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| |कार्बन डाइऑक्साइड
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| |-
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| |सिलिकॉन डाइऑक्साइड
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| |सिलिकॉन
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| |-
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| |सिलिकेट
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| |जिओलाइट
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| |-
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| |कार्बनिक रसायन: कुछ आधारभूत सिद्धांत तथा तकनीकें
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| |-
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| |कार्बन की चतुर्संयोजकता: कार्बनिक यौगिकों की आकृतियां
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| |-
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| |कार्बनिक यौगिकों की आकृतियाँ
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| |-
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| |पाई आबंधों के कुछ अभिलक्षण
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| |-
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| |कार्बनिक यौगिकों का संरचनात्मक निरूपण
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| |-
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| |पूर्ण संधनित तथा आबंध रेखा संरचनात्मक निरूपण
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| |-
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| |कार्बनिक यौगिकों का त्रिविमी सूत्र
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| |-
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| |कार्बनिक यौगिकों का वर्गीकरण
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| |-
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| |अचक्रीय अथवा विवृत श्रंखला यौगिक
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| |-
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| |चक्रीय अथवा बंद श्रृंखला यौगिक
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| |-
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| |एलिसाइक्लिक यौगिक
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| |-
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| |क्रियात्मक समूह
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| |एरोमेटिक योगिक
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| |सजातीय श्रेणियां
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| |-
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| |कार्बनिक यौगिकों की नामपद्धति
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| |-
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| |आई यू पी ए सी नामकरण
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| |-
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| |एल्केन का आई यू पी ए सी नाम पद्धति
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| |सीधी श्रंखलायुक्त हाइड्रोकार्बन
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| |शाखित श्रृंखला युक्त हाइड्रोकार्बन
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| |-
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| |क्रियात्मक समूह से युक्त कार्बनिक यौगिकों की नामपद्धति
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| |-
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| |बेंजीन व्युत्पन्नों की नामपद्धति
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| |-
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| |समावयवता
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| |संरचनात्मक समावयवता
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| |-
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| |श्रंखला समावयवता
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| |-
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| |स्थिति समावयवता
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| |-
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| |क्रियात्मक समूह समावयवता
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| |-
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| |मध्यावयवता
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| |-
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| |त्रिविम समावयवता
| |
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| |-
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| |कार्बनिक अभिक्रियाओं की क्रियाविधि में मूलभूत संकल्पनाएँ
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| |-
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| |सहसंयोजक आबंध का विदलन
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| |-
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| |क्रियाधार एवं अभिकर्मक
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| |-
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| |कार्बनिक अभिक्रियाओं में इलेक्ट्रॉन संचलन
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| |-
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| |सहसंयोजी आबंध में इलेक्ट्रॉन विस्थापन के प्रभाव
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| |-
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| |प्रेरणिक प्रभाव
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| |अनुनाद-संरचना
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| |अनुनाद-प्रभाव
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| |धनात्मक अनुनाद-प्रभाव
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| |-
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| |ऋणात्मक-अनुनाद-प्रभाव
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| |अतिसंयुग्मन
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| |
| |कार्बोनिक अभिक्रियाएं और उनकी क्रियाविधि
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| |प्रतिस्थापन अभिक्रियाएं
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| |संकलन/ योगज अभिक्रियाएँ
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| |विलोपन अभिक्रियाएँ
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| |पुनर्विन्यास अभिक्रिया
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| |कार्बनिक यौगिकों के शोधन की विधियां
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| |ऊर्ध्वपातन
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| |क्रिस्टलन
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| |आसवन
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| |विभेदक निष्कर्षण
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| |वर्णलेखन
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| |अधिशोषण-वर्णलेखन
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| |कॉलम-वर्णलेखन
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| |पतली परत वर्णलेखन
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| |वितरण क्रोमैटोग्राफी
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| |कार्बनिक यौगिकों का गुणात्मक विश्लेषण
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| |कार्बन तथा हाइड्रोजन की पहचान
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| |अन्य तत्वों की पहचान
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| |नाइट्रोजन का परीक्षण
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| |सल्फर का परीक्षण
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| |हैलोजनों का परीक्षण
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| |फास्फोरस का परीक्षण
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| |मात्रात्मक विश्लेषण
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| |कार्बन तथा हाइड्रोजन
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| |नाइट्रोजन
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| |हैलोजन
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| |सल्फर
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| |फॉस्फोरस
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| |ऑक्सीजन
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| |हाइड्रोकार्बन
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| |एल्केन
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| |नाम पद्धति तथा समावयवता
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| |विरचन
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| |असंतृप्त हाइड्रोकार्बन
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| |ऐल्किल हैलाइडों से
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| |कार्बोक्जिलिक अम्ल
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| |रासायनिक गुण
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| |प्रतिस्थापन अभिक्रिया
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| |दहन
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| |नियंत्रित ऑक्सीकरण
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| |समावयवीकरण
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| |ऐरोमैटीकरण
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| |भाप के साथ अभिक्रिया
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| |ताप अपघटन
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| |संरूपण
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| |एल्कीन
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| |द्विआबन्ध की संरचना
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| |समावयवता
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| |एल्कीन के भौतिक गुण
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| |रासायनिक गुण
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| |डाइहाइड्रोजन का संयोजन
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| |हैलोजन का संयोजन
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| |हाइड्रोजन हैलाइडों का संयोजन
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| |मार्कोनीकॉफ नियम
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| |प्रति मार्कोनीकॉफ नियम/खराश प्रभाव
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| |सल्फ्यूरिक अम्ल का संयोजन
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| |जल का संयोजन
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| |ऑक्सीकरण
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| |ओजोनीकरण
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| |बहुलकीकरण
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| |एल्काइन
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| |नाम पद्धति तथा समावयवता
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| |-
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| |विरचन
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| |-
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| |कैल्शियम कार्बाइड से
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| |-
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| |एल्काइन के भौतिक गुण
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| |एल्काइन के रासायनिक गुण
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| |-
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| |एल्काइन का अम्लीय गुण
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| |योगज अभिक्रिया
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| |डाइहाइड्रोजन का संयोजन
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| |हैलोजेन का संयोजन
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| |हाइड्रोजन हैलाइड के संयोजन
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| |जल का संयोजन
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| |बहुलकीकरण
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| |एरोमेटिक हाइड्रोकार्बन
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| |नाम पद्धति तथा समावयवता
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| |बेन्ज़ीन की संरचना
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| |अनुनाद एवं बेंजीन का स्थायित्व
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| |एरोमेटिकता
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| |बेंजीन का विरचन
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| |भौतिक गुण
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| |रासायनिक गुण
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| |इलेक्ट्रॉनरागी प्रतिस्थापन अभिक्रियाएँ
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| |नाइट्रीकरण
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| |हैलोजनीकरण
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| |सल्फोनीकरण
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| |फ्रीडल-क्राफ्ट ऐल्किलीकरण
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| |योगज अभिक्रियाएँ
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| |एकल प्रतिस्थापित बेन्जीन में क्रियात्मक समूह का निर्देशात्मक प्रभाव
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| |-
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| |कैंसरजन्य गुण तथा विषाक्तता
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| |पर्यावरणीय रसायन
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| |पर्यावरण प्रदूषण
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| |-
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| |वायुमंडलीय प्रदूषण
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| |-
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| |क्षोभमंडलीय प्रदूषण
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| |-
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| |गैसीय वायु प्रदूषक
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| |-
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| |कणिकीय प्रदूषक
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| |-
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| |नाइट्रोजन के ऑक्साइड
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| |सल्फर के ऑक्साइड
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| |हाइड्रोकार्बन
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| |कार्बन के ऑक्साइड
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| |कार्बन मोनोऑक्साइड
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| |-
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| |कार्बन डाइऑक्साइड
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| |-
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| |अम्ल वर्षा
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| |-
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| |धूम-कोहरा
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| |-
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| |समतापमंडलीय प्रदूषण
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| |-
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| |ओजोन छिद्र
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| |जल प्रदूषण
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| |-
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| |जल प्रदूषण के कारण
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| |जल के अंतर्राष्ट्रीय कारक
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| |-
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| |मृदा प्रदूषण
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| |-
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| |
| |पीड़कनाशी
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| |-
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| |औद्योगिक अपशिष्ट
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| |-
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| |हरित रसायन
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| |दैनिक जीवन में हरित रसायन
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