कार्बिल एमीन अभिक्रिया

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जब ऐलिफैटिक या ऐरोमैटिक प्राथमिक ऐमीन (जैसे – ऐनिलीन, एथिल या मेथिल एमीन) को ऐल्कोहॉलीय KOH की उपस्थिति में क्लोरोफॉर्म की कुछ बूंदों डालकर गर्म किया जाता है तो आइसोसायनाइड की तीक्ष्ण दुर्गन्ध प्राप्त होती है। इस अभिक्रिया को कार्बिलऐमीन अभिक्रिया कहते हैं। इसका उपयोग प्राथमिक ऐमीन समूह की उपस्थिति ज्ञात करने में होता है।

कार्बिलामाइन को आइसोसायनाइड या आइसोनाइट्राइल भी कहा जाता है। कार्बिलामाइन कार्बनिक यौगिकों का एक वर्ग है। प्राथमिक ऐमीन क्लोरोफॉर्म तथा ऐल्कोहॉलिक KOH के साथ गर्म करने पर उत्पाद के रूप में कार्बिलऐमीन (आइसोसायनाइड) देती है। इस अभिक्रिया में कार्बिलऐमीन उत्पाद के रूप में बनता है तो इस अभिक्रिया को कार्बिलऐमीन अभिक्रिया कहते हैं। इस अभिक्रिया का उपयोग सिर्फ प्राथमिक एमीन से आइसोसाइनाइड् के संश्लेषण में किया जाता है। द्वितीयक या तृतीयक एमाइन से आइसोसाइनाइड को संश्लेषित करने के लिए कार्बिलमाइन अभिक्रिया का उपयोग नहीं किया जा सकता है। कार्बिल एमीन अभिक्रिया को आइसोसाइनाइड परीक्षण भी कहा जाता है।

अभ्यास प्रश्न

  • कार्बिल एमीन में मुख्य उत्पाद क्या प्राप्त होता है ?
  • इसे आइसोसाइनाइड परीक्षण क्यों कहते हैं ?
  • कार्बिल एमीन अभिक्रिया को एक उदाहरण द्वारा समझाइये।